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अपनी औक़ात कैसे बनाये || Powerful Motivation Video Ft. Shashish Kumar Tiwari

बोर्ड एग्जाम में मैं टॉप आ गया गोपालगढ़ डिस्ट्रिक्ट और एक दिन ऐसा भी आया कि उसी पटना में वो वहां पर बैठे थे इंग्लिश सीखने के लिए और मैं यहां खड़ा था इंग्लिश सिखाने के लिए और मुझे लगता है कि इंसान दो भावनाओं में कमाल का काम करता है या तो मोहब्बत में या तो नफरत पिताजी कहते थे जब मैंने ट्यूशन पढ़ाना शुरू करा कि भैया बारिश है जब बर्ष होगे तो भी गोगे नहीं तो सूखे रह जाओगे आई हैव बीन अ वेरी गुड फॉलोअर मैंने जो भी जिंदगी में काम किया है तो मैंने जिसको भी माना है पूरा माना है वहां का जो केयर टेककर था उसने कहा कि यहां कुमार विश्वास जी आए हैं यहां

Empowering Your Potential: How to Rise Beyond Limits | Motivational Video Ft. Shashish Kumar Tiwari

(00:35) नीतीश कुमार आए हैं मैं 1015 वर्षों से यहां सर इतनी भीड़ कभी नहीं एस अ मोटिवेशनल स्पीकर उनके किन-किन तरीकों से पैसे वो बना सकते [संगीत] हैं सो हाय एवरीवन वेलकम टू इंडियास टॉप क्रिएटर और आज हमारे साथ एक ऐसी पर्सनालिटी है जो इंटरनेट पर अगर आपको कभी भी लगे कि यार मैं लो फील कर रहा हूं लाइफ में मेरा बिजनेस नहीं चल रहा बहुत कुछ डुबा चुका हूं तो मुझे लगता है कि एसकेटी जो youtube’s टॉप क्रिएटर शो थैंक यू सो मच सर थैंक यू सो मच और सच में आज मतलब वसे मैं सेकंड टाइम सर से मिल रहा हूं लेकिन हमेशा जब आपकी वीडियोस और शॉट्स में जो

(01:21) पसीना आपका जो गुस्सा पन दिखता है दहाड़ता हुआ तो मुझे लगता है कि यार उससे ना एक अंदर एनर्जी आती है वो क्या वो वो जो एनर्जी है सर उसका राज क्या है एक्चुअली मैं जब बात करता हूं तो पूरे दिल से बात करता हूं 100% हम लोग देने की कोशिश करते हैं तो जब आप पूरे एफर्ट्स के साथ और पूरी दीवानगी में बात करते हैं तो वो एनर्जी वो जो आपका एक अग्रेशन है वो बाहर आएगा आप विराट कोहली को देखिए जी अच्छा कुछ लोग का नेचर भी ऐसा होता है धोनी पे वो अग्रेशन कभी अच्छा नहीं लगेगा हम उन पे वो शांत स्वभाव ही बढ़िया लगता है तो मुझे लगता है कि मैं एक अग्रेसिव स्पीकर ओके तो मेरा

(01:55) नेचर अलग है अ तो अलग-अलग स्पीकर होते हैं सबका नेचर अलग है और मेरे लिए मुझ पे वो सूट करता है और मुझे लगता है इसलिए इतने लोग देखते भी हैं और शेयर भी होता है मतलब बहुत कम शब्दों में बड़ी-बड़ी बातें कह गए है ना ग्रेट सर लेकिन बहुत डिटेल में आज जानने की कोशिश करेंगे आपसे थोड़ा सा मैं बचपन जानना चाहूंगा आपको इन स्टार्टिंग अभी आप यू नो इंटरनेट प बहुत पॉपुलर है हर कोई आपको देखने आते हैं आपसे सुनते हैं मोटिवेट होते हैं बट यह जो दो-तीन साल की जर्नी मैं इसको स्किप करूं और इससे पीछे एक जर्नी बहुत लंबी रही है आपकी तो थोड़ा

(02:29) सा उसके बारे में बता स्टार्टिंग से सर पापा मेरे आर्मी में रहे तो जन्म तो गोवा में हुआ लेकिन वहां से फिर निकल के हम लोग गोपालगंज आ गए मतलब गोवा से गोपालगंज बिहार जी और गोपालगंज में एक बाढ़ प्रभावित गांव से मैं बिलंग करता हूं और जो प्राइमरी एजुकेशन थी मेरी वो सब सरकारी स्कूल में हुई वो बोरा छाप स्कूल बोरा ले जो हम लोग जाते थे और उस तरीके से मैंने अपनी प्राइमरी एजुकेशन वहां पर कंप्लीट की आठवी में जब मैं था ना तो गोपालगंज और पूरे बिहार में ही आठवी में एक बार बोर्ड हो गया जो बोर्ड दसवीं में होती थी वो आठवीं में एक बार हो गई थी

(03:07) और उस बोर्ड एग्जाम में मैं टॉप आ गया गोपालगढ़ डिस्ट्रिक्ट में एंड दैट वाज द टर्निंग पॉइंट ऑफ माय लाइफ वहां से मेरी जिंदगी थोड़ी बदली और मेरे पिताजी को लोगों ने काफी मोटिवेट किया कि ऐसा लड़का तो पूरे गांव में नहीं पैदा हुआ पूरे खानदान में नहीं पैदा हुआ तो आप इसको पटना लेकर जाइए एंड दैट वाज द टर्निंग पॉइंट मेरे पिताजी मुझे पटना लेके आए और एक सीबीएससी स्कूल में इंग्लिश मीडियम स्कूल में नाइंथ के लिए मेरा एडमिशन हो गया बट वहां क्या दिक्कत थी कि बिहार के अंदर अगर आप आप भी जान रहे हैं बिहार के बारे में तो वहां इंग्लिश कंपलसरी नहीं है बिहार

(03:42) में मैट्रिक में राइट और छठी क्लास इंग्लिश की पढ़ाई शुरू होती बिल्कुल बिल्कुल इंग्लिश कोई पढ़ता नहीं था इंग्लिश की घंटी सबसे अंत में होती थी सबको पता था कि भाग जाना है और मास्टर भी जानते थे कि कोई पढ़ेगा नहीं तो इंग्लिश की जो एग्जामिनेशन थी वो हम लोग पारलेजी और टाइगर बिस्किट प पास कर जाते थे मास्टर जी को पार्ले जी खिलाया तो 70 में 80 70 8 आ गया और टाइगर भी खिला दिया तो 90 पर आ गया तो जब मैं यहां आया इंग्लिश मीडियम स्कूल में तो मुझे काफी दिक्कतें हुई मुझे कुछ समझ में नहीं आता था और लोग मेरा मजाक उड़ाते थे क्योंकि मेरे पिताजी ने यह कह

(04:16) दिया था कि मेरा बच्चा टॉपर है और यह बात क्लास में पहुंच गई थी कि गोपालगंज डिस्ट्रिक्ट का टॉपर आ रहा है तो सब मेरा मजाक बहुत उड़ाते थे क्योंकि मुझे कुछ समझ में नहीं आता था और एक बात कहते रहते थे तुम तो टॉप हो तुम तो टॉपर हो और हर क्लास के बाद पूछते थे कुछ समझ में आया मैं कहा नहीं और इसके चलते फॉर एट एंड नाइन मंथ्स आई स्ट्रगल टू कप अप विथ इंग्लिश मीडियम स्कूल मैंने काफी मेहनत की डे नाइट बहुत कोशिश की लेकिन मुझे समझ में नहीं आती थी चीज और फाइनली नाइंथ मुझे छोड़ना पड़ा सीबीएसी क्विट की फिर से बिहार बोर्ड में आया अपनी औकात प आया और फिर मैंने 10थ की

(04:55) और 10थ करने के बाद इंग्लिश सीखनी शुरू की जो कोचिंग पकड़ के आप इंग्लिश सीखते हैं ही इज अ बॉय श इज अ गर्ल दैट इन ऐसे करके मैंने इंग्लिश सीखनी शुरू की और आठ से न महीने मुझे लगे आफ्टर दैट आई बिकम वन ऑफ द यंगेस्ट फैकल्टीज ऑफ इंग्लिश एंड पटना फिर मैंने पढ़ाना शुरू कर दिया 17 साल की उम्र में जब मैं पार्ट वन में था तो इंग्लिश के बड़े बड़े कोचिंग में मैं वहां पर पढ़ा रहा था क्लासेस ले रहा था तो वहां से मुझे लगता है एक टर्निंग पॉइंट हुई क्योंकि कोई चीज मुझे नहीं आती थी जिसके चलते मैं जिंदगी में हार गया था और उस चीज को सीखना

(05:27) उस परे एक विक्ट्री हासिल करना इसने मुझे एक अलग कॉन्फिडेंस दिया इट वाज नॉट जस्ट अबाउट इंग्लिश ये किसी विषय के बारे में नहीं आप मुझे एक यह बात समझ में आ गई कि जीतना कैसे अगर कोई चीज आपको नहीं आती क्या करना होगा कैसी मेहनत कैसी दीवानगी चाहिए कि आप उस चीज को हासिल कर लेंगे और एक पार्ट वन का स्टूडेंट पढ़ा रहा है मुझसे बड़े-बड़े लोग पढ़ने के लिए आ रहे हैं जो पार्ट थर्ड में है कोई एमबीए कर रहा है साइंस कॉलेज के प्रोफेसर आते थे तो कई बड़े-बड़े लोग मुझसे और वो आके मेरी क्लासेस में बैठे हुए हैं पढ़ने के लिए तो उसने एक अलग कॉन्फिडेंस दिया और वहां से

(06:03) मुझे लगता है कि एक अलग जर्नी हमारी शुरू हो गई ओके उसके बाद से फिर पढ़ाया दो तीन साल पढ़ाया काफी अच्छा रहा वह सब कुछ बड़ा अच्छा वाकया भी है उसी में एक क्लास में ले रहा था एडवांस इंग्लिश की क्लास तो उस समय क्या होता था एडवांस इंग्लिश की क्लासेस में कि टीचर्स को हिंदी बोलने की इजाजत नहीं वो सिर्फ इंग्लिश में ही बात करेगा तो आई टूक अ क्लास फॉर अराउंड वन एंड हाफ आर कंपलीटली इन इंग्लिश सो व्हेन आई केम आउट ऑफ द क्लास सडन अ गर्ल फॉलो मी एक लड़की उधर से फॉलो की और उसने मुझसे पूछा हेलो आर यू सशी मैंने कहा कि यस आई एमशीष व्ट फॉर क्या बात है हैव यू बीन

(06:41) लिविंग इन पटना फॉर द लास्ट फाइव एंड सिक्स इयर्स कहा कि यस आई हैव बीन लिविंग इन पटना फॉर द लास्ट फाइ एंड सिक्स इयर्स ओके वर यू इन कृष्णा सेंट्रल स्कूल आई सेड यस आई वाज इन कृष्णा सेंट्रल स्कूल ओके डू यू नो फल्ला फल्ला फल्ला फल्ला फल्ला आई नो फल्ला फल्ला फल्ला फल्ला फल्ला उसने कहा कहां जानते हो मैं ही तो हूं तो वो सीबीएससी के दोस्त जो जिंदगी भर अंग्रेजी माध्यम से पढ़ते आए जो मेरा मजाक उड़ाते थे जिनका पूरा खानदान अंग्रेजी माध्यम से पढ़ता आया और एक दिन ऐसा भी आया कि उसी पटना में वह वहां पर बैठे थे इंग्लिश सीखने के लिए और मैं यहां खड़ा था इंग्लिश

(07:15) सिखाने केलिए तो मैंने उस लड़की से पूछा था कि कुछ समझ में आया तो मुझे लगता है कि हर वो चीज जो आप सच में हासिल करना चाहते हैं आप उसे हासिल कर सकते हैं सवाल इसका है कि आप सच में चाहते हैं कि नहीं तो इंग्लिश मैं कई जगहो प जब पढ़ाता था तो मुझसे लोग पूछते थे कि सर आप कैसे आपने किया या आप कैसे बोलते हैं कैसे सीखा आपने तो मैंने कहा यार बात कैसे की नहीं है बात क्यों की है आपके लिए अंग्रेजी एक विषय है और मेरे लिए दुश्मन मुझे बदला लेना था और मुझे लगता है कि इंसान दो भावनाओं में कमाल का काम करता है या तो मोहब्बत में या तो नफरत या तो जीतने

(07:56) से आपको मोहब्बत हो और या तो हारने से आपको नफरत हो मतलब यही दो फीलिंग्लेस हारा था तो मुझे उसे हराना था तो मेरे लिए विषय नहीं था एक युद्ध था जो मैं लड़ रहा था और जब आप अपनी औकात पे आ जाते हैं कुछ भी संभव कर लेते हैं ग्रेट सर ग्रेट ग्रेट ये ये जर्नी बड़ी इंटरेस्टिंग है मतलब सीरियसली मतलब सुनने में लगता है कि हां यार मतलब बहुत आपने एक स्टोरी में बताया इसको लेकिन इसके पीछे की मेहनत बहुत हुई क्योंकि इंडिया में मुझे लगता है इंग्लिश एक बहुत चैलेंजिंग विषय है हर स्टूडेंट के लिए खासकर जो बिहार यूपी से राट हा स्पेशली बिहार और यी वाले

(08:37) मिडल क्लास लोर मि क्लास फम जहां कोई इमेंट नहीं है हम भोजपुरी बोल के और बड़े हुए लोग हैं जहां गांव में कोई ढंग से हिंदी में भी बात नहीं करता तो हम लोग के लिए पटना एक चैलेंज था इंग्लिश मीडियम एक चैलेंज सच में था और मुझे लगता है कि हर इंसान एक बार सीखने की कोशिश करता है बट वही है कि स्ट्रांग रीजन ना होना आपको काम शुरू कर रहे हैं उससे भी इंपॉर्टेंट है कि क्यों शुरू कर रहे हैं सिर्फ इसलिए शुरू कर रहे हैं क्योंकि बहुत सारे लोग वो काम कर रहे हैं फिर आपका फेल होना तय है लेकिन आपके पास कोई कारण है ठोस कारण है कि मैं

(09:12) क्यों शुरू कर रहा हूं क्योंकि जब रिजल्ट नहीं आता तब आपको आपका कारण उस मैदान में टिका के रखता है और यह डन है कि आप कुछ भी कर लीजिए रिजल्ट जल्दी आता नहीं तो एक फेज तो आता है जब रिजल्ट नहीं मिल रहा आप कुछ भी कर लीजिए उस वेज में ही 90 पर लोग दम तोड़ देते हैं गिव अप करेंगे तो वो जो कुछ प्रतिशत लोग हैं जो गिव अप नहीं करते हैं उनके पास वही स्ट्रांग रीजन था जब उन्होंने शुरू किया था जो उनको उस टफ फेस में टिका के रखेगा फिर वो जीतेंगे ग्रेट सर ग्रेट बहुत सही बात कही आपने और इस पर कोई ओपिनियन नहीं है मेरा बिल्कुल एग्जैक्ट ये सही आंसर है कि आपके पास रीजन

(09:52) होना चाहिए अब अब ये वो दौर था जब आपने चीजें सॉर्ट करी फिर एक आता है जॉब या बिजनेस आपके दिमाग में होगा य हम बिहार के बच्चे और मे काफी लोग मेरे पिताजी कहते थे जब मैंने ट्यूशन पढ़ना शुरू करा कि भ बारिश है जब बर्ष होगे तो भीगो नहीं तो सूखे रह जाओगे है ना और जो कुछ नहीं करता वो मास्टर ही बनता है तो मैंने भी ये बहुत सुना है तो अंदर एक रहता है कि यार कुछ अलग करना है कुछ अलग करना है तो क्या आपके भी दिमाग में था उस टाइम क्या फिर किस रास्ते प की बात तो बिल्कुल थी और इट वास लाइक जब आप एक मिडिल क्लास फैमिली से हैं और खासकर आप बिहार से हैं तो सरकारी नौकरी

(10:26) एक बड़ी चीज होती है तो सरकारी नौकरी तैयारी भी की और बट फाइनली एक टाइम आया जब मुझे ऐसा लगा कि गवर्नमेंट जॉब से अच्छा हम कुछ और कर सकते हैं मैं जब पढ़ा ही रहा था और पढ़ रहा था जब ग्रेजुएशन थर्ड ईयर में था तब मेरी मुलाकात डायरेक्ट सेलिंग से हुई मैं एक डायरेक्ट सेलिंग के सेमिनार में गया और वहां पे जो कुछ भी मैंने देखा तो मुझे ऐसा लगा कि अगर मैं नौकरी करूंगा तो सिर्फ अपनी जिंदगी और अपने परिवार की जिंदगी चला पाऊंगा लेकिन अगर मैं नौकरी नहीं करता हूं हू तो मैं हजारों परिवारों की जिंदगियों को प्रभावित कर पाऊंगा पॉजिटिवली तो यह बात समझ में आ गई थी कि

(11:07) नौकरी से सिर्फ अपना परिवार चलेगा और नौकरी अगर रही करते हैं स्ट्रगल और करते हैं तो शायद और भी फैमिलीज को और भी लोगों के लिए हम जिंदगी में कुछ बढ़िया कर पाएंगे तो जब यह बात समझ में आई तो फिर नौकरी देना उसकी तैयारी वह सब कुछ छोड़ दिया फिर फिर कहीं से भी यह बात ध्यान में नहीं रही और सर्टिफिकेट देखे ही जमाने हो गए कहां है नहीं हैय कक उसकी जरूरत फिर कभी नहीं पड़ी एक बार यह क्लियर करना था कि नौकरी करनी है या नहीं करनी है तो फिर जब यह क्लियर हो गया कि नहीं करनी है कुल मिला के और कुछ ऐसा ही करना है जिससे हम नौकरी ना ले बल्कि औरों की सहायता कर पाए

(11:46) फिर ये जब तय हु तो फिर डायरेक्ट सेलिंग में आ गए और डायरेक्ट सेलिंग में आने के बाद मुझे नहीं लगा कि फिर नौकरी की कोई जरूरत थी ग्रेट सर ग्रेट कितना टाइम आपने इस इंडस्ट्री को दिया पा साल पा साल फ यर्स डायरेक्ट सेलिंग में रहा और और 2009 में मैंने एंटर किया था बहुत सारे लोग अभी भी मुझसे पूछते हैं कि सर आप किस कंपनी में काम कर रहे हो एंड ऑल एंड ल अब अच्छी बात है कि मैं आपके साथ हूं राइट तब बता पाऊ कि मैं कहीं नहीं काम कर रहा ग्रेट मैंने पाच साल काम किया था 2009 में मैं आया था फिर 14 15 तक लगभग पाछ साल काम किया अच्छा काम किया बढ़िया टीम बनाई

(12:20) और अच्छा एक्सपीरियंस रहा बहुत कुछ सीखा उस इंडस्ट्री से मुझे लगता है कि आज मैं जो कुछ भी कर पा रहा हूं उसमें एक बहुत बड़ा कंट्रीब्यूशन उस इंडस्ट्री का है क्योंकि उसने हमें मेहनत करना सिखाया मैं आपको बताऊं कि जब मैं डायरेक्ट सेलिंग में आया तो वहां एक कमाल की बात सिखाई जाती थी कि दो गोल्डन रूल हमें सिखाए जाते थी कि योर अपलाइन इज ऑलवेज राइट यानी जो आपका सीनियर है ही इज ऑलवेज राइट राइट और दूसरी बात कि व्हेन एवर यू थिंक दैट यर अपलाइन इज रॉन्ग रेफर टू रूल नंबर फर्स्ट जब कभी भी तुम्हें ऐसा लगने लगे कि यार ये बंदा सही नहीं है ये ऊपर वाला तो पहले वाला याद

(12:53) कर लो और पहले वाला था कि अपलाइन इज ऑलवेज राइट तो मेरे एक अपलाइन थे उन्होंने मुझसे कहा कि सर आप अगर पढ़ाना छोड़ देते तो बड़ा कमाल करते तब मैं पढ़ा भी रहा था और ये भी चल रहा था तो उन्होंने कहा कि यार पढ़ाना छोड़ देते तो कमाल करते मैंने छोड़ दिया आई हैव बीन अ वेरी गुड फॉलोअर मैंने जो भी जिंदगी में काम किया है तो मैंने जिसको भी माना है पूरा माना है जब मैं अंग्रेजी सीखता था तो मेरे टीचर अगर कुछ भी कह देते थे मैं उसे पूरा करता था जब मैंने काम किया जिसको सीनियर माना जिसको गुरु माना उसने जो कहा आंख बंद करके मैंने मानने से पहले मैं सोच लूंगा लेकिन एक बार

(13:33) अगर आपको मान लिया फिर आप जो कहोगे वो करो उन्होंने कहा छोड़ दो मैंने छोड़ दिया और छोड़ के आ गया मैं रोड प अब मैं रोड पर पास प्रमोट कर रहा हूं कि आप क्या करते हो सर अच्छा आप स्टूडेंट हो संडे को क्या कर रहे हो आ जाओ कई बार मेरे स्टूडेंट मिल जाते सर आप सर आप तो पढ़ा रहे थे मैं बहुत बड़े काम में हूं तो बहुत सारी चीज हु हमने य सी खा कि कैसे फिल्म वर्क करना है और मुझे लगता है कि पटना का कोई गली मोहल्ला चौराहा नहीं होगा जहां मैंने इन्विटेशन नहीं की उसको अननोन इन्विटेशन कहते हैं तो सुबह मतलब कि 600 7:00 बजे घर से निकल जाना रात में 12:00 बजे आना 1:00

(14:14) बजे आना मेरी मम्मी कहती थी कुछ हो जाएगा तुमको इतनी रात में मत आया करो दो दिन जो मेरे साथ रहता था उसको तीसरे दिन बुखार हो जाता था बिना खाए पिए प्यासे ऐसे ही घूम रहे हैं पागलों की तरह राइट इन्विटेशन कर रहे हैं तो मेहनत की हां शिकायत तब भी नहीं थी ऐसा नहीं था कि रो रहे थे कि शिकायत कर रहे थे कि भगवान ये क्या जिंदगी है जी कितना बढ़िया थी इस रूम में पढ़ा रहे थे ये कहां भेद नहीं कोई शिकायत नहीं थी कभी भी मजबूरी में काम नहीं किया जो भी काम किया उसमें एक मोहब्बत थी क्यों कर रहा था काम यह पता था कि ये मैं क्यों कर रहा हूं

(14:47) इसका दर्शन क्या है तो वो क्लेरिटी थी जिसके चलते कभी कोई शिकायत नहीं हुई संघर्षों से हमने शिकायत नहीं की दुखों से हमने शिकायत नहीं की और उसको एंजॉय किया उस फेज को एंजॉय किया पारलेज बिस्किट खाके कुछ दिनों तक रहना उसको एंजॉय किया जब आपके पास आप पूरे पटना को घूम रहे हैं धूप में और आपके पास पा रप नहीं आइसक्रीम खाने के लिए तो उसको एंजॉय किया मैं दूर जाता था पढ़ाने एक बीटा नाम की एक कोचिंग होती थी बोरिंग रोड में मैं भूतनाथ रोड में रहता था उधर पैदल जाता था पैदल जाना और पैदल आना जो लोग पटना में है जो जानते हैं एनएमसीएस से भूतनाथ रोड से यन कॉलेज

(15:26) बोरिंग रोड पैदल जाना पैदल आना तो मुझे लगता है कि हर इंसान ने अपनी जो सफलता है उसकी कीमत चुकानी है और मुझे लगता है कि कोई भी चीज आपको फालतू की नहीं मिलती ईश्वर आपको फालतू में कुछ भी नहीं देता आपको यह समझाना होगा और दिखाना होगा कि आप डिजर्व करते हैं ग्रेट सर ग्रेट मतलब बहुत ही इंस्पायरिंग स्टोरी है हर जानरा के अगर जो लोग नेटवर्क मार्केटिंग से भी हैं और वो देख रहे होंगे उनको भी बहुत मोटिवेशन मिल रहा होगा इन चीजों ये बात तो समझ आ गई कि ये आपकी एक स्ट्रगल स्टोरी थी बट एक अभी भी अनटच स्टोरी है कि की एक जर्नी मतलब एज अ क्रिएटर क्योंकि

(16:01) मैं स्पेशली मैंने अपना जो डिजिटल वर्ल्ड है के विचारों के साथ क्योंकि जिस दर्शन के साथ मैं इस इंडस्ट्री को देखता था मुझे नहीं लगता था कि उसी दर्शन से वोह देख रहे हैं मेरा दर्शन बहुत अलग था इस इंडस्ट्री को लेके तो मुझे ऐसा लगा कि मेरे जो विचार है वह मिल नहीं पा रहे और कुछ ऐसी चीजें हुई मेरे साथ जिसके चलते मैंने छोड़ दिया तो आप पा साल बड़ी शिद्दत से बड़ी मोहब्बत से किसी इंडस्ट्री में काम करते हैं तो उसको छोड़ने के लिए तो नहीं करते बट समथिंग हैपन विद मी तो मैंने उसे छोड़ दिया और पटना से मैं चला गया भागल अभी हम लोग पटना रह रहे थे बहुत दिनों से 10 15 वर्ष हो गए थे हमारी फैमिली को

(17:02)  पटना में रह और उसको छोड़ के मैं भागलपुर चला गया और भागलपुर में जाकर मैंने छह सात बच्चों से अंग्रेजी पढ़ाना शुरू किया मुझे एक बंदा जानता था उसने मुझे किसी बड़े स्टेज पर देखा था नासिक महाराष्ट्र तो एक बार जब मैं वहां गया था तो वह मुझे पहचान गया था कि सर मैंने आपको वहां पर देखा था और उसका नंबर था मेरे पास वो एक कोचिंग चलाता था तो उसने कहा कि सर अंग्रेजी का फैकल्टी नहीं है आप आ जाइए और उस समय तक कुछ चीज ऐसी हो गई थी कि मैं यहां से छोड़ रहा था इस इंडस्ट्री को तो मैं गया वहां पर और छह सात बच्चों से मैंने पढ़ाना शुरू

(17:36) कर दिया और अगले छ महीने के बाद जस्ट छ महीने के बाद हम लोग भागलपुर में हजारों लोगों के साथ टाउन हॉल में सेमिनार कर रहे थे मोटिवेशनल सेमिनार अपनी कोचिंग छ सात महीने हम लगे थे हमने उससे मतलब इतना इतने लोग आ गए कि हमें 1520 मिनट मुझे याद है हमें हाथ जोड़ के बाहर खड़ा होना हो पड़ा कि आप अगली बार आइएगा वहां का जो केयर टेकर था उसने कहा कि यहां कुमार विश्वास जी आए हैं यहां नितीश कुमार आए हैं मैं 10 प वर्षों से यहां सर इतनी भीड़ कभी नहीं तो आप सोच क्या आलम होगा और उस समय भागलपुर में मोटिवेशनल सेमिनार कोई जानते नहीं यह क्या होता है सेमिनार पहली बार

(18:18) बहुत लोगों ने सुना तो बड़ा अच्छा किया हम लोगों ने हम लोग अच्छा कर रहे थे दो तीन साल वहां पर पढ़ाना शुरू किया तो दो तीन साल निकल गए लेकिन अर में एक बात थी डायरेक्ट सेलिंग को लेके बिकॉज आई वास नेवर नेगेटिव मैं नेगेटिव नहीं था मैंने इंडस्ट्री छोड़ा था लेकिन उस उस इंडस्ट्री से जो कुछ भी मुझे मिला था मैं ग्रेटफुल था उसके लिए तो मेरा जो दर्शन था मेरी जो नॉलेज थी जो एक्सपीरियंस थ मुझे ऐसा लगा कि मुझे शेयर करना चाहिए और वहां मुझे क्योंकि टेक्नोलॉजी का मुझे नॉलेज नहीं यह सब कुछ कैसे होता है मुझे वहा अंकित मिले मेरे एक

(18:56) स्टूडेंट के छोटे भाई थे उनको सब कुछ आता था तो मैंने कहा कि यार ये तो बढ़िया है फिर हमने एक चैनल की शुरुआत की और वहां से 2018 मुझे जहां तक याद है नवंबर में चैनल की शुरुआत हुई और हमने कहा कि या जो मुझे आता है उसे सिखाने की शुरुआत करते हैं अच्छा कहां से शुरू हुई एक मोबाइल हमारे पास वो जो बोया का माइक होता है ना वो भी नहीं था जो आप बढ़िया रिकॉर्डिंग तो बाथरूम में जाकर मैं रिकॉर्ड करता था उसकी ऑडियो अच्छी आएगी अच्छा ग्रेट सर ऐसे रिकॉर्डिंग करते थे कैमरा था नहीं कोई डीएसएलआर कैमरा नहीं था तो हमने वॉइस ओवर जो वीडियोस है वो शुरू की अंकित

(19:39) उसको एडिट करते थे और मैं कंटेंट जो था वो वॉइस वो हम लोग तैयार करते थे और जाके उसको रिकॉर्ड कर लेते थे मोबाइल में ही सब कुछ चल रहा था मोबाइल के साथ भी कोई माइक नहीं जुड़ा हुआ था और ऐसे करके तीसरी या चौथी वीडियो हमारी वायरल हो गई महज तीसरी या चौथी वीडियो डाली थी हम लोगों ने और ऐसे करके एक एक दिन में दो दो हज तीती हज सब्सक्राइबर होने लगे एंड मुझे लग जहां तक या तीन महीनों में 90 दिनों में हम लोगों ने एक लाख सब्सक्राइबर कर लिए और एक लाख सब्सक्राइबर के बाद हमने अपना चेहरा दिखाया तब हम लोग आए त तब तक ले लिया हमने वो कैमरा ले लिया सारी चीजें कुछ कुछ ले

(20:16) ली और भागलपुर से ये जर्नी शुरू हुई एक और चीज थी कि जब आप बहुत आप देखिए कि जब आपके साथ काफी लोग हो जाते हैं और आप लोगों के साथ बहुत दिनों तक रहते हैं तो कई बार लोग आपको हल्के में लेते हैं अब जो लोग आपके साथ पांच पाच छ साल से हैं या ऐसे हैं तो कई बार ऐसा होता है कि वो आपकी वैल्यू नहीं समझते तो कुछ ऐसी भी चीज हो गई थी कि ऐसा लग रहा था यार कोई समझ ही नहीं रहा इधर भागलपुर में आ गए तो उसको लग ही नहीं रहा कि मैं कौन हूं अब ऐसा था कुछ करना होगा यार कुछ ऐसी भी चीजें थी कि लोग हल्की भी ले रहे हैं तो चैनल को शुरू किया और उसके

(20:51) बाद से ऊपर वाले की कृपा थी मुझे लगता है कि टैलेंट बहुत लोगों में होता है कुछ नसीब कुछ आशीर्वाद कुछ दुआएं लोगों की और ईश्वर आपको कहां लेकर जाना चाहता है फिर वहां से हमें एक अच्छा रिस्पांस मिला और एक टर्निंग पॉइंट फिर वहां से हुआ youtube.be प जब हम लोग आए तो हमें फिर पूरे इंडिया से ट्रेनिंग के लिए चीजें आ कि सर आप तो वहां से हम लोग का जो एक ट्रेनिंग वाला जो लाइफ है एक ट्रेनिंग का जो स्कोप था वो बड़ा हो गया बॉडर लेवल प चला गया राट ग्रेट सर ग्रेट मतलब येय की जर्नी मतलब बाथरूम से शुरू करना काफी मोटिवेशन मतलब हर लोग जिनके पास मतलब मैं हमेशा

(21:45) कहता हूं यार बोया का माइक ले लो पा 700 का आता है मतलब कुछ लोगों के पास नहीं भी हो सकता है मतलब वो वो शायद अभी बहुत मोटिवेट फील कर रहे हो कि जब आप इस लेवल प आ गए आपको विश्वास होना चाहिए अम जी मुझे ऐसा लगता है कि यू मस्ट हैव फेथ जब हम लोग ने शुरू किया तो कई लोग पूछते कि सर आप यहां तक कैसे हमें पता था लेकिन पहुंचना ऐसा नहीं था कि हमें कोई शक था ये नहीं था कि हमें कोई शक था कि यार मेरा कंटेंट लोगों को अच्छा नहीं लगेगा या मेरे पास जो नॉलेज है वो नहीं चलेगी हमें यह पता था कि मेरे पास जो नॉलेज है मैं जो कुछ भी बताने

(22:17) वाला हूं मेरा जो दर्शन है वो लोगों के दिलों तक पहुंचेगा हम ये इस बात को लेकर शोर थे कि हम हेल्प करने वाले हम बहुत सारे लोगों की जिंदगी में एक पॉजिटिव इंपैक्ट लेके आएंगे हमें पता था कि जो चीजें हमने सीखी है उससे जो लोग निराश हैं जो लोग उदास हो चुके हैं जो लोग छोड़ने के बारे में सोच रहे हैं जो गिव अप करने वाले हैं हम उनको फिर से जिंदा कर लेंगे तो इस बात का विश्वास होना चाहिए जब आप मैदान में आते हैं एक खिलाड़ी जब मैदान में आता है ना उसको पहले से पता होता है कि वो आज कमाल करने वाला है अगर आप शक में आ रहे हैं कि अच्छा मैदान में चलके फैसला करेंगे

(22:49) कि क्या होगा ऐसे नहीं होता साहब जब आप उधर से उतर के आ रहे हैं ना सीढ़ियां उतर के उस समय आपको पता होना चाहिए कि मैं मैच जीतने जा रहा हूं मैं खेलने नहीं जा रहा मैं कुछ बड़ा करने जा रहा हूं तो बहुत सारे लोग मुझे ऐसा लगता है जो क्रिएटर है या जो कुछ भी काम कर रहे हैं वो कहते हैं बाद में देखेंगे पहले शुरू कर लो क्यों शुरू कर लो शुरू करने से पहले सोचो ना कि मुझे जीतना है आप हारने के लिए थोड़े खेल शुरू कर रहे हैं और कौन इंसान है जो हारने के लिए खेलेगा फिर गलत है खेली खेल ही छोड़ दो फिर फिर फालतू का टाइम बर्बाद क्या करना है अगर आपको क्रिएटर बनना है या

(23:22) फिर आप किसी चीज की तैयारी शुरू कर रहे हैं एग्जाम में जाने वाले हैं कुछ नौकरी लेना है आपको आपको पहले दिन से मुझे लगता है कि प्रिपरेशन से पहले इंपॉर्टेंट है माइंडसेट का प्रिपरेशन राइट और यह माइंडसेट होना चाहिए विनिंग माइंडसेट कि मुझे जीतना है और यह विश्वास आपको पैदा करना होगा भले आपके पास कुछ नहीं है ना हमारे पास अच्छा माइक था ना हमारे पास डीएसएलआर कैमरा था हमारे पास कुछ भी नहीं था एक छोटा सा फोन वो भी होगा तो 10 15 हज का होगा लेकिन विश्वास थोड़े खरीद के आता है किसी मार्केट से इसकी थोड़ी कोई दुकान है कि जाके आप विश्वास कर देंगे भैया मैं

(23:57) क्या हूं नहीं हूं भाड़ में जाए मुझे विश्वास है कि मैं कर लूंगा तो आप मुझे रोक नहीं सकते ये विश्वास जरूरी है मुझे लगता है रिसोर्सेस से अधिक इंपोर्टेंट है फेथ इन योरसेल्फ राइट आपको खुद पे कितना विश्वास है और जिसको खुद पे विश्वास है साहब उसे आप रोक नहीं पाएंगे थोड़ा देर सवेर हो सकता है आगे तो बंदा आएगा ग्रेट सर ग्रेट मतलब बिल्कुल सही बात है ये कि रियलिटी है कि अगर आपको अपने आप प विश्वास है तो आप जरूर उस चीज को करेंगे बट एक चीज मुझे यहां पे लगती है कि बहुत से लाइक यूथ है अभी जैसे जिनकी एज 20 22 साल की है वो आपको देखते आपकी तर बनना चाहते तो उसका एक

(24:31) सेट ऑफ रूल है कि आपको ये स्टेप लेने है कुछ एक सेट ऑफ रूल्स है थोड़ जब गाइड कर पाए उ देखिए एक्चुअली किसी के भी जैसा बनने का क्या है इन द सेंस की मोटिवेशनल स्पीकर बनना है बनना है ठीक है मोटिवेशनल स्पीकर बनना है पब्लिक स्पीकर अगर आपको बनना है किसी को भी बनना है तो मुझे लगता है कि आपको यह देखना है कि जिसके जैसा भी आप बनना चाहते हैं जो कुछ भी आप करना चाहते हैं पहली चीज तो यह देखनी है कि आप उसके साथ उसके जैसा या यह करना ही क्यों चाहते हैं एक पहले ठोस रीजन निकालिए कि वई य वांट टू डू दिस आप एटली क्यों करना चाहते हैं उसका पर्पस क्या है दूसरी चीज

(25:09) एक बड़ी अच्छी चीज है कि जो सफल लोग कर रहे हैं आप उसे देखिए वैसा करने की कोशिश कीजिए पब्लिक स्पीकिंग बड़ा सिंपल है आपको किसी की रील बढ़िया लग रही है कोई शॉर्ट स्पीच बढ़िया लग रहा है मैं कगा वो शर्ट स्पीच लिखिए उसको बोलने की कोशिश कीजिए क्योंकि यह कोई तो है नहीं कि कुछ खाएंगे पिएंगे तो आप बोलने लगेंगे राइट वेरी सिंपल की प्रैक्टिस से ही चीजें होंगी तो आपको जो स्पीकर बढ़िया लग रहा है आप जिसके जैसा खुद को देखना चाहते हैं कि यार मैं ऐसा देखना चाहता हूं खुद को राइट डाउन द स्पीच उसकी स्पीच को लिखिए और उसकी प्रैक्टिस कीजिए बोल के ओके पहले देख के

(25:45) ही कर लीजिए कोई फर्क नहीं पड़ता आप स्पीच सामने ही रखिए और पढ़िए तो ठीक है स्पीच ही देख के आप उस ढंग में आइए दो वो इमोशन वो अग्रेशन वो चीजें वो उतार चढ़ाव अच्छा ये एक बार भी नहीं होगा आपको कई बार ये चीजें रिपीट करनी पड़ेंगी और मुझे लगता है आज एक अच्छी चीज है कि यह रील्स का जमाना है ये शॉर्ट्स का जमाना है टेक्नोलॉजी सबके पास है अच्छा शॉर्ट्स का जमाना है बहुत बड़ा कंटेंट नहीं चाहिए आपको एक मिनट और 30 सेकंड के लिए क्या कंटेंट चाहिए छोटा सा कंटेंट चाहिए उस छोटे से कंटेंट की प्रैक्टिस कीजिए आप बोलने की प्रैक्टिस कीजिए रिकॉर्ड इट वच इट रिकॉर्ड कीजिए

(26:23) देखिए और देखिए तो आपको समझ में आएगा कि कहां कहा मेरी अभी भी कमी उसको फिर से इंप्रूव कीजिए और बाकी जहां तक कोर्सेस का सवाल है कि कुछ किताबें हैं पब्लिक स्पीकिंग प या कुछ कोर्सेस है वो भी हेल्पफुल है इंडिया में अभी मोटिवेशनल स्पीकिंग को लेके कुछ खास नहीं है कि एटली मोटिवेशन प अच्छा कई लोग को लगता है मोटिवेशन कुछ नहीं होता लगता है कि ये तो हा मतलब आज है कल नहीं रहेगा बट ये प्योर साइंस है एक बड़ी पढ़ाई है मोटिवेशन कोई छोटा मोटा विषय साइकोलॉजी है पूरी राट लेकिन ना तो उतना कोई पढ़ाने वाला है और ना तो किसी को उतना पढ़ना है कुल मिलाकर

(27:02) लोगों को लगता है कि चार कहानियां सीखनी है चार कहानिया बोलनी है मोटिवेट बन जाना है ऐसा नहीं है पूरा विज्ञान है और मुझे ऐसा लगता है कि मोटिवेशनल स्पीकर इ सेंस की एक करियर गाइडेंस हुए आपके लाइफ में आपको उन्होंने गाइड किया और भारत में सबसे ज्यादा कमी मुझे लगता है इसकी है क्योंकि हम जब यनो जैसा आपने बताया कि आप भी 10थ में थे कोई बताने वाला नहीं होता कि क्या करना है फर आपने अपने ट्यूशन टीचर को देखा कि भैया ये टिव की प्रिपरेशन कर रहे हैं तो आपका एक प्लान सेट हो गया कि ये करना है कोई सीए कर र है जैसे हमारे ट्यूशन टीचर सीए थे तो हमने सीए करना शुरू कर

(27:35) दिया हमें कुछ नहीं पता था तो मुझे लगता है भारत में करियर काउंसलर मोटिवेशन स्पीकर की बहुत कमी है कमी अभी भी है और स्कोप भी बहुत ज्यादा है क्योंकि लोगों को गाइड करने के लिए सही लोग नहीं है नहीं तो क्योंकि हम हमेशा भाई ने अगर किसी हमारे रिलेटिव्स में कोई भाई ने अच्छा कर लिया है हम वैसे ही बनना चाहते तोर वैसे बना उन्होने यूपीएसी कर लिया तो मुझे भी करना है उन्होंने आईआईटी कर लिया मुझे क्या एक फैमिली का भी प्रेशर रहता है कि देखो भैया की एक नौकरी लग गई है उस काम कर को करके तुम्हें भी वही वाला काम करना है अच्छा ये सब अन कन्वेंशनल बात है एक्चुअली नौकरिया

(28:05) है जो बाकी चीजें हैं वहां चीजें समझ में आती है अच्छा चीजें आसान क्यों लगती है आपको बिकॉज यू नो द स्टेप्स राइट नौकरी आसान क्यों लग रही है मुझे बताइए नौकरी आसान है अगर आपके पास 1000 सीट है तो 1 लाख एप्लीकेंट्स हैं आसान तो किसी भी दृष्टिकोण से नहीं है फिर ये करोड़ों लोग नौकरी की तैयारी क्यों करते हैं मैं आपको बता रहा हूं क्योंकि उनको यह पता है कि नौकरी लेनी कैसे है दे नो द स्टेप्स बिजनेस कैसे करना है स्टेप नहीं पता अमीर कैसे बनना है स्टेप नहीं पता क्रिएटर कैसे बनना है स्टेप नहीं पता य से पैसा कैसे आएगा स्टेप नहीं अच्छा स्टेप ना पता होना

(28:40) किसी चीज को डिफिकल्ट कर देता है और वहां आसानी से उसको पता नौकरी में का करना है तो एक प्री देना है एक मेंस देना है य इंटरव्यू देना है हो गया जी तो स्टेप्स पता होना लोगों को फसा के रखता है कर और अगर आपको किसी चीज का स्टेप नहीं पता तो आपको खोजने की कोशिश करनी चाहिए किताबें हैं ब्लॉग्स हैं इतने आर्टिकल्स हैं वीडियोस हैं मुझे लगता है कि बहुत सारे लोग सिर्फ इसलिए छोटे काम या उन सब जगहों पे फंसे हुए हैं क्योंकि उनको बड़े कामों का या बड़ी चीजों का रास्ता नहीं पता राइट ग्रेट सर सो अभी अभी आप कह रहे थे कि youtube2 स्पीकर उनके किन-किन तरीकों से

(29:25) पैसे वो बना सकते हैं या फिर थोड़ा सा आप भी अपना इनपुट दे तो उनको और मजा आएगा क्योंकि वो जानने इच्छ होंगे बहुत सारे जो सब्सक्राइबर्स है वो आपके देख रहे होंगे तो उनको लगेगा हां यार आज सर बताएंगे कुछ मजा आएगा अच्छा पैसा भी एक बहुत बड़ा मोटिवेटिवेशनल मीडिया से कितना पैसा आता है तो मैं जहां तक उनको जवाब देता हूं अपने एक्सपीरियंस प मैं कहता हूं कि देखो सोशल मीडिया से आपको पॉपुलर मिलती है पहचान मिलती है पहचान से बाजार आपको पैसा देते हैं जितने भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स है वो आपको पहचान देते हैं अब वो पहचान आपकी कीमत डिसाइड

(30:13) करता है जितनी बड़ी पहचान उतनी बड़ी कीमत यह पहचान मिलेगी सोशल मीडिया से आज जो भी लोग बहुत अधिक कुछ ऐसे लोग हैं आप खुद जानते हैं कुछ लोग को कुछ ब्रांड्स के ऐड करने के लिए एक एक वीडियो पे 15 लाख 10 लाख 5 लाख ऐसे मिलते हैं री नर्मल थिंग लेकिन वो क्यों मिलते हैं क्योंकि उन्होंने एक पहचान बनाई वो पहचान कहां से बनी सोशल मीडिया से तो पैसा शुरू में जो मोटिवेशनल स्पीकिंग है या जो भी चीज है शायद उतना ना मिले आपको आप स्कूलों में जाएंगे कॉलेजेस में जाएंगे वो अधिक आपको पैसा नहीं दे पाएंगे 10000 11 25000 ऐसे हार्डली बहुत लोग फ्री में कर दो जी हमारे

(30:52) पास पैसा नहीं है तो आपको करना होगा अगर आप ये सोचेंगे ना कि नहीं नहीं पैसा मिले तभी करू फिर तो आप गए कोई बात नहीं पहचान तो दे रहा है ना उसको कैसे प्रमोट करना है ट इ इंपोर्टेंट आप एक कॉलेज में गए आपने एक टॉक लिया प्रमोट ट प्रमोट करना कहीं से भी गलत नहीं आपने काम किया ना उसको दिखाने के लिए फ्री है दुनिया को कि मैंने यह काम किया तो पहली इनकम जो होती है वो सेशन से होती है जो आप ऑफलाइन सेशन लेते हैं यह थोड़ी कम होगी शुरू में कम होगी धीरे धीरे लोग आपको पे करेंगे डेफिनेटली पे करेंगे जो आप य से या फिर सोशल मीडिया से या एंडोर्समेंट जो

(31:31) आपको मिलते हैं वहां से कमाई होती है यह कमाई होगी आपकी व्यूज के दम प कि कितने लोग आपको देख रहे हैं इंगेजमेंट कैसा है ऑडियंस कैसी है आपकी तो यह तो कंसिस्टेंसी से मिलेगी व्यूज का कोई तो आपको पता है मंत्र है नहीं कंसिस्टेंसी इज द ओनली मंत्र जितने भी लोग य प या सोशल मीडिया प फ्लॉप होते हैं क्यों होते हैं क्या वो कम टैलेंटेड है बिल्कुल नहीं वो कम कंसिस्टेंट है अगर आप रेगुलर नहीं है तो छोड़ दीजिए फिर अगर आप यह सोच कि मैं महीने में कभी वीडियो बनाऊंगा सप्ताह में कभी बना लूंगा फिर मैं एक क्रिएटर हो जाऊंगा फिर मैं एक इनफ्लुएंसर हो जाऊंगा

(32:03) तो वो आप मौसमी इनफ्लुएंसर है राइट व बस ही तो मेडक टा टाय करने लगे वो वैसे चलेंगे नहीं फिर आप एक कंसिस्टेंसी आपको बरकरार रखनी होगी अगर आप वीडियोस बना रहे हैं आप इफस बनना चाहते हैं या मोटिवेशनल स्पीकर बनना चाहते हैं दूसरी चीज कि जब आप अपना ओपन टॉक करते हैं शो करते हैं हम लोग यह भी करते हैं कि किसी शहर में हमने कर दिया कि भाई दिल्ली में हम अपना प्रोग्राम कर रहे हैं हम य प्रोग्राम कर रहे हैं तो वहां से भी आपकी इनकम होती है वो एक अलग इनकम होती है अच्छा जो जनरा है आपका अगर आप मोटिवेशन स्पीकिंग है तो आप सेल्स के लिए मोटिवेशन देते होंगे बिजनेस के लिए

(32:38) देते होंगे लीडरशिप के लिए देते होंगे लाइफ स्किल के लिए तो उस जनरा की जो कंपनिया है वो आपको इनवाइट करने लग मैं आपको यह बता रहा हूं शुरू में यह 25000 00 से शुरू होगा कंपनियों की बात ये पा 10 लाख तक जाता है अपना नहीं बता रहा सम र लोग मेरे ल आपका ही समझ रहे हो शुरू से 25 30 से शुरू होता है 4050 ऐसे आपको चलेगा कि लेकिन फिर यह कंपनिया य जो कॉर्पोरेट कंपनिया है जो और भी कंपनिया जो आपको टॉक के लिए बुला रही है सेल्स के लिए या बिजनेस के लिए लीडरशिप के लिए यह चल जाता है एक एक सेशन के 5 लाख 6 लाख 7 लाख एंड पीपल हैली पे य ऐसा नहीं है कि उनको

(33:20) कोई दुख है वो क्यों आपको पे कर रहे हैं क्योंकि जो ट्रेनिंग प जो सेशन प पेमेंट होती है वो एक्सपेंस में नहीं गिना जाता वो निवेश में गिना जाता कांड ऑफ इन्वेस्टमेंट क्यों इससे उनका बिजनेस डेवलप हो रहा है आपने आकर जो मेहनत की है दो घंटे की इससे उनका बिजनेस डेवलप हो रहा है वह जो काम कर रहे थे लोग वह अब कहीं अधिक ऊर्जा में काम करने लगे तो आपने बिजनेस को बढ़ाया है तो जब आप बिजनेस को बढ़ा रहे हैं मान के चलिए आपको 5 लाख किसी ने दिया लेकिन आपको बुलाने से मेरा बिजनेस 50 लाख बढ़ गया जी करेक्ट है तो फिर मैं आपको 5 लाख क्यों नहीं दूंगा क्या लगता है

(33:54) मेरा तो कहीं तक जा सकते हैं आप मतलब इसकी कोई हद तो नहीं है आपका इंपैक्ट यह डिसाइड करेगा कि आप कितना कमाएंगे और इंपैक्ट कैसे इंपैक्ट को डिसाइड करेगा आपका पढ़ना रिसर्च करना कंसिस्टेंसी डेडिकेशन और इंटेंशन कि इंटेंशन कितना अच्छा है आपका ये चीजें हैं लंब एक लंबी यात्रा है कई लोग को ये लगता है ना कि आज ही आए जी आज कोई नहीं आया साहब राइट हां कई लोग आज देखते हैं आज ही आज कोई नहीं है सबने 5 साल दे दिए है मुझे लगता है जितने भी क्रिएटर्स आप देख रहे हैं हम जितने भी इफल आप देख रहे हैं जिन लोगों को भी आपको ऐसा लगता है कि ये इंसान सफल है साहब 5 साल तो

(34:34) कम से कम मेहनत कर रखी है उसने कम से कम की मैं बता रहा हूं आपको दिख रहा है एक साल आपको दिख रहा है छ महीने लेकिन उसके पीछे झांकी तो फाइव इयर्स की मेहनत तो अगर आप 5 साल किसी भी फील्ड में दे सकते हैं किसी भी फील्ड में तो डेफिनेटली आप सफल होने लगे कोई रोक नहीं सकता आपको ग्रेट सर ग्रेट बहुत सारी बातें बहुत मोटिवेशन मेरे को भी मिला है और सीरियसली मतलब बहुत को बहुत सारी पॉइंट ऐसी चीजें होती हैं जो कहते हैं वन थिंग एक किताब है जिसमें आपको एक पॉइंट जो टर्निंग पॉइंट हमेशा एक पर्सन कहीं भी आपको मिल सकता है कोई भी हो सकता

(35:06) है वो तो वो चीजें हैं ग्रेट सर आपने इतनी सारी बातें कही आई होप जो लोग देख रहे होंगे कमेंट्स करके जरूर बताइए कि कैसा लगा आपको जो लोग यहां तक देख रहे हैं इस वीडियो को सीरियसली आप बहुत म वो है अपनी लाइफ को लेके एंड थैंक यू सो मच सर आपका कि आपने इतना टाइम दिया और माय प्लेजर माय प्लेजर बहुत अच्छा लगा सर आपसे पहले हम लोग क्रिएटर कम्यून में मिले अभी आपसे मुलाकात हो रही है सच प्लेजर आप कमाल के आदमी और मैं हर जगह पर आपकी चर्चा करता हूं कि देखिए और आपको देख के आपको सुन के मजा आता है सर और अच्छा लगता है एक अलग फीलिंग आती है वो आपका प्यार है

(35:44) सर आपका व्यवहार है सर आप आप आप बिहेवियर में मुझे लगता है कि आपका बिहेवियर इतना अच्छा है और आप इतने ग्राउंड टू अर्थ वाले इंसान है कि सबको आपसे सीखना चाहिए दिस इ सो इंपोर्टेंट थैंक यू थैंक यू सो मच एंड में बहुत इमोशनल हो रहा हूं लेकिन सीरियसली बहुत मजा आया सच में आपके साथ और मैं एट द एंड आपको कहना चाहूंगा कि आज से कुछ दो ढाई साल पहले कोई वीडियोस आप सोफे प बैठे हुए थे रिलेटेड टू नेटवर्क मार्केटिंग प आप डिफेंड करने कि किसी क्रिएटर ने वीडियो बनाई थी तो उस दौरान मैंने वो आपको पहली बार देख था ऑडी स्कूटर ऐसा कुछ कुछ एक वीडियो थी जहां तक मुझे

(36:23) याद है जब आपने कहा ना कि मैंने वीडियोस बनाना शुरू करी तो मैंने उस टाइम देखा था तो क्योंकि मैं क्रिएटर्स देखता रहता हूं कि इंडस्ट्री में कौन क्या कर रहे हैं तो उस दौरान हम लोग भी आपको बहुत पहले से देख रहे हैं और आपको तो पूरा हिंदुस्तान ही देख रहा है बहुत पहले से थैंक यू सर थैंक यू सो मच सर थैंक  यू के दोस्त जो जिंदगी भर अंग्रेजी माध्यम से पढ़ते आए जो मेरा मजाक उड़ाते थे जिनका पूरा खानदान अंग्रेजी माध्यम से पढ़ता आया और एक दिन ऐसा भी आया कि उसी पटना में वो वहां पर बैठे थे इंग्लिश सीखने के लिए और मैं यहां खड़ा था इंग्लिश सिखाने के

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